पंडाल निर्माण और मूर्ति स्थापना को लेकर पटना प्रशासन का सख्त निर्देश, DM-SP को नई जिम्मेदारी
प्रमंडलीय आयुक्त मयंक वरवड़े ने कहा है कि दुर्गापूजा पंडाल की ऊंचाई 40 फीट से ज्यादा नहीं रहनी चाहिए। उन्होंने प्रतिमा भी 20 फीट से ज्यादा ऊंची नहीं रखने का निर्देश दिया है।
आयुक्त सोमवार को दुर्गापूजा एवं दशहरा को लेकर वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से हुई प्रमंडलस्तरीय बैठक में अधिकारियों को संबोधित कर रहे थे।
बैठक में आइजी गरिमा मलिक, शाहाबाद डीआइजी समेत सभी छह जिलों, पटना, नालंदा, भोजपुर, बक्सर, रोहतास एवं कैमूर के डीएम, एसपी-एसएसपी, नगर आयुक्त एवं अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
भीड़ पर ड्रोन से नजर रखने का निर्देश
आयुक्त एवं आइजी ने सुदृढ़ विधि-व्यवस्था, निर्बाध यातायात, सीसीटीवी से निगरानी के अलावा भीड़ पर ड्रोन से नजर रखने का निर्देश दिया।
त्योहार के दौरान किसी भी प्रकार का मेला, सांस्कृतिक कार्यक्रम, रावण वध, जुलूस, विसर्जन आदि का आयोजन जिला प्रशासन की पूर्व अनुमति के बिना नहीं किया जाएगा। विशेष सतर्कता बरतने, भीड़-प्रबंधन, यातायात तथा अचूक सुरक्षा-व्यवस्था का निर्देश दिया।
आयुक्त व आइजी ने कहा कि सार्वजनिक स्थलों पर दंडाधिकारियों व पुलिस पदाधिकारियों को तैनात रखें। डीएम-एसपी स्वयं भ्रमणशील रहकर क्षेत्र का जायजा लेते रहें। अफवाहों का त्वरित खंडन करें।
आपात स्थिति से निपटने को तैयार रखें क्यूआरटी
इस वर्ष नवरात्र तीन अक्टूबर को शुरू होगा। सप्तमी 10, महाअष्टमी एवं महानवमी 11 एवं दशहरा 12 अक्टूबर को है। दुर्गापूजा के बाद 31 अक्टूबर को दीपावली तथा 7-8 नवंबर को छठ पूजा है। इन सब पर्व-त्योहारों के मद्देनजर सुदृढ़ प्रशासनिक तैयारी सुनिश्चित रखें। पूजा पंडालों में सीसीटीवी व वीडियोग्राफी अनिवार्य है।
अग्निशमन की ठोस व्यवस्था आयोजकों को करनी होगी। अस्थायी विद्युत कनेक्शन लेना होगा। आपत्तिजनक स्लोगन, कार्टून आदि पर रोक है। प्रतिमा का विसर्जन अस्थायी तालाब में ही किया जाएगा। आतीशबाजी एवं डीजे पर पूर्णत: रोक है।
पूजा समितियों से 20-20 सक्रिय कार्यकर्ताओं की सूची मोबाइल नंबर के साथ तैयार करें। साफ-सफाई, रोशनी, आपात चिकित्सा व्यवस्था समेत अन्य बिंदुओं पर भी आयुक्त ने अधिकारियों को निर्देशित किया।